बीआर शेट्टी की अचानक पतन का कारण क्या रहा, यह अभी भी एक रहस्य है!
भारतीय टाइकून (दिग्गज व्यवसायी) और मध्य पूर्व के व्यवसायी बवगुथु रघुराम शेट्टी (बीआर शेट्टी) का पतन इतना दयनीय है कि कर्ज में डूबी उनकी प्रमुख कंपनी यूएई एक्सचेंज, इजरायल स्थित एक संघ को सिर्फ एक डॉलर में बेची गई। 1973 में दुबई में मेडिकल रिप्रेजेंटेटिव (प्रतिनिधि) के रूप में गए बीआर शेट्टी (78), ने नेशनल मेडिकल सेंटर (एनएमसी) अस्पतालों की श्रृंखला और मनी एक्सचेंज (धन हस्तांतरण) व्यवसाय की स्थापना करके अपने उदय की शुरुआत की। वह 2014 में फोर्ब्स के 100 सबसे अमीर पुरुषों में 42 वें स्थान पर थे। पिछले दो वर्षों से यूएई आधारित बैंक भारी बकाया की अदायगी के लिए उनके पीछे पड़े थे और यह सब उनकी प्रमुख कंपनी यूएई एक्सचेंज को एक डॉलर के मूल्य पर बेचने के साथ ही समाप्त हुआ, अब संपूर्ण बकाया राशि पर खरीदार का अधिकार[1]।
यूएई पहुँचने से पहले, बीआर शेट्टी, बहुत कम उम्र में जनसंघ की राजनीति में सक्रिय रूप से शामिल थे और अपने गृहनगर उडुपी नगर पालिका में उपाध्यक्ष थे। फार्मास्यूटिकल (दवाईयों से संबंधित) क्षेत्र में अपनी शिक्षा के साथ, वह संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में एक मेडिकल प्रतिनिधि के रूप में पहुँचे। बाकी इतिहास है। 80 के दशक की शुरुआत में कुछ समय में ही वह अरबपति बन गए और यूएई एक्सचेंज की स्थापना की, यह एक प्रमुख मनी एक्सचेंज कंपनी थी जिसने यूएई में काम करने वाले भारतीयों को उनके घर पैसे भेजने का लाखों रुपयों का लक्ष्य साधा। यह एक प्रसिद्ध रहस्य है कि उनके व्यापारिक साझेदार यूएई के शाही परिवार से थे। अन्यथा, मध्य पूर्व में इतना समृद्ध बनना असंभव है।
जब तक अगले दो दशकों तक सीआईए अपने संचालन को समाप्त नहीं करता तब तक इस बात पर कोई स्पष्टीकरण नहीं आयेगा, कि बीआर शेट्टी के पतन का कारण क्या है।
2012 में, शेट्टी की स्वास्थ्य के क्षेत्र की कंपनी एनएमसी को लंदन स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबद्ध किया गया और अब 2019 से उसका दिवाला निपटारण चल रहा है। अप्रैल 2020 में, सेंट्रल बैंक ऑफ यूएई ने बीआर शेट्टी की संपत्तियों को जब्त करने का आदेश दिया और अरबपति एवं उनके परिवार को हाल ही में मध्य पूर्व के हवाई अड्डों पर हर तरह की शर्मिंदगी का सामना करना पड़ा है। उन्हें लंदन में भी दिवालिया होने के मामलों का सामना करना पड़ रहा है। पिछले चार दशकों से बीआर शेट्टी इतने सारे सांस्कृतिक कार्यक्रमों को प्रायोजित करके और कई फिल्मों का निर्माण करके भारत में एक स्टार बन चुके थे।
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शेट्टी के पास दुबई की सबसे ऊंची मीनार बुर्ज खलीफा की 100 वीं और 140 वीं मंजिल की मालकीयत है। 78 वर्षीय उद्यमी एक महत्वाकांक्षी व्यक्ति थे, 2018 तक एक के बाद एक कई संपत्तियाँ हासिल कर रहे थे। उनके अचानक पतन का कारण क्या रहा, यह अभी भी एक रहस्य है। एक उत्तर यह है कि बीआर शेट्टी या मध्य पूर्व के किसी भी अन्य गैर-राष्ट्रीय व्यवसायी की साझेदारी शाही परिवार और मध्य पूर्व के देशों के शक्तिशाली लोगों द्वारा समर्थित है। चर्चा है कि इनमें से कुछ अधिक संपत्ति धारक व्यक्ति (हाई नेट-वर्थ इंडिविजुअल्स) छिपे हुए साझेदार थे, जिन्होंने अपना निवेश वापस ले लिया या उनका विश्वास खो गया। कुछ लोग तो यह भी कहते हैं कि इस तरह के बड़े भागीदार मौजूदा प्रशासन के या अमेरिका, जो अपने अमित्र राष्ट्रों से मनी लॉन्ड्रिंग जैसे अवैध कार्यों के निष्कासन की अपेक्षा करता है, की नजरों में खटक रहे थे। जब तक अगले दो दशकों तक सीआईए अपने संचालन को समाप्त नहीं करता तब तक इस बात पर कोई स्पष्टीकरण नहीं आयेगा, कि बीआर शेट्टी के पतन का कारण क्या है।
संदर्भ:
[1] UAE Exchange Centre’s parent company Finablr is sold to Israeli-UAE consortium for $1 – Dec 17, 2020, Gulf News
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