लुधियाना न्यायालय विस्फोट मामले में पूर्व पुलिसकर्मी की पहचान बम फेंकने वाले के रूप में हुई: एजेंसियों को खालिस्तान का हाथ होने शक

गगनदीप पहले ड्रग्स के एक मामले (एनडीपीएस एक्ट) में पकड़ा गया था और इस के लिए उसे जेल भी हुई थी

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लुधियाना बम विस्फोट के पीछे के व्यक्ति की पहचान पूर्व पुलिस अधिकारी गगनदीप सिंह के रूप में हुई
लुधियाना बम विस्फोट के पीछे के व्यक्ति की पहचान पूर्व पुलिस अधिकारी गगनदीप सिंह के रूप में हुई

लुधियाना बम विस्फोट के पीछे के व्यक्ति की पहचान पूर्व पुलिस अधिकारी गगनदीप सिंह के रूप में हुई

एक चौंकाने वाले रहस्योद्घाटन में, लुधियाना न्यायालय बम विस्फोट के पीछे के व्यक्ति की पहचान पूर्व पुलिस अधिकारी गगनदीप सिंह के रूप में की गई है।

हालांकि विस्फोट में उसका शरीर विकृत हो गया था, लेकिन उसके परिवार ने उसके टैटू की मदद से उसकी पहचान की।
जांच एजेंसियों को लुधियाना न्यायालय परिसर धमाके में खालिस्तान का हाथ होने का शक है।

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एनआईए और पंजाब पुलिस को शक है कि गगनदीप किसी से ऑनलाइन बम असेंबल करने और उसे एक्टिवेट करने की जानकारी ले रहा था। सूत्रों के मुताबिक विस्फोट के वक्त गगनदीप का मोबाइल फोन फट गया। उसके पास एक इंटरनेट डोंगल था जिसके जरिए वह इंटरनेट का इस्तेमाल कर रहा था।

लुधियाना के पुलिस आयुक्त गुरप्रीत भुल्लर ने पुष्टि की कि विस्फोट का कारण आत्मघाती बम विस्फोट हो सकता है, जिसमें दो लोगों की मौत हो गई और छह अन्य घायल हो गए।

भुल्लर ने कहा – “कल 12:22 बजे, हमें एक कॉल आया था कि न्यायिक परिसर की दूसरी मंजिल पर एक विस्फोट हुआ है। यह पुरुषों के लिए एक सार्वजनिक शौचालय था, और उसके बगल में पुराना रिकॉर्ड रूम था। हम तुरंत वहां पहुंचे। और इलाके की घेराबंदी कर दी। जब हमने अपराध का दृश्य देखा, तो मेरी टीम और मैं यह पता लगा सके कि शायद जो व्यक्ति इसे अंजाम दे रहा था, उसने खुद को भी उड़ा लिया था। ऐसा लगता है जैसे असेम्बल करते वक्त ही बम विस्फोट हुआ हो।”

गगनदीप पहले ड्रग्स के एक मामले (एनडीपीएस एक्ट) में पकड़ा गया था और इस के लिए उसे जेल भी हुई थी। वह तब हेड कांस्टेबल था और 2019 में उसे सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था।

धमाका गुरुवार को जिला सत्र न्यायालय के एक वॉशरूम में दूसरी मंजिल पर हुआ।

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