अमेरिका में मिला कोरोना का नया घातक वैरिएंट!
अमेरिका में कोरोना का नया वैरिएंट एक्सबीबी15 मिला है जो दूसरे वैरिएंट की तुलना में बेहद खतरनाक है। चीनी मूल के अमेरिकी हेल्थ एक्सपर्ट एरिक फेगल डिंग ने कहा है कि यह पिछले बीक्यू1 वैरिएंट से 120 गुना ज्यादा तेजी से संक्रमण फैलाता है। ये इंसान के इम्युनिटी सिस्टम को चकमा देने में पहले के सभी वैरिएंट से ज्यादा माहिर है।
डिंग ने कहा है कि एक्सबीबी15 कोरोना का एक सुपर वैरिएंट है। इसके चलते कोरोना से जुड़े मामलों में अस्पताल में भर्ती होने की दर लगातार बढ़ रही है। डिंग ने कहा है कि एक साइंटिस्ट ने न्यूयॉर्क में फैल रहे इस वैरिएंट के मॉडल की स्टडी की है। उन्होंने एक के बाद एक 17 ट्वीट करके आरोप लगाया कि चीन की तरह ही अमेरिका भी कोरोना के नए वैरिएंट का डेटा छिपा रहा है।
एक्सबीबी15 कोरोना का ‘सुपर वैरिएंट’ है। बीक्यू1 जितने लोगों को 26 दिन में संक्रमित कर रहा था एक्सबीबी15 उतने लोगों को 17 दिन के भीतर संक्रमित कर रहा है। इसकी आर वैल्यू यानी रीप्रोडक्शन वैल्यू बीक्यू1 से ज्यादा है। आर वैल्यू से पता चलता है कि कोरोना से इन्फेक्टेड एक व्यक्ति से कितने लोग संक्रमित हो रहे हैं या हो सकते हैं। एक्सबीबी15 क्रिसमस से पहले बीक्यू1 के मुकाबले 108% की रफ्तार से फैल रहा था। क्रिसमस के बाद यह रफ्तार बढ़कर 120% हो गई है
हेल्थ एक्सपर्ट एरिक ने दावा किया है कि सीडीसी ने पिछले 2 हफ्तों में एक्सबीबी15 वैरिएंट के सही आंकड़े जारी नहीं किए। डिंग ने अमेरिका के डिजीज कंट्रोल सेंटर के कुछ आंकड़ों की फोटो शेयर की हैं। उनके मुताबिक कोरोना के ये आंकड़ें सीडीसी ने रिलीज नहीं किए थे।
एरिक ने दावा किया कि सेंटर ने नए वैरिएंट से जुड़े मामलों में एकदम 1% से 40% तक का उछाल दिखा दिया। अमेरिका में दिसंबर के महीने में इस नए कोरोना वैरिएंट के मामलों में 40% की बढ़ोतरी दर्ज हुई है।
एक्सपर्ट ने कहा एक्सबीबी15 सब वैरिएंट अमेरिका में ही पैदा हुआ है। जो सिंगापुर में मिले एक्सबीबी वैरिएंट से 96% तेजी से फैलता है। उनके मुताबिक इस नए कोरोना वैरिएंट ने न्यूयॉर्क में अक्टूबर में ही फैलना शुरू कर दिया था।
हेल्थ एक्सपर्ट ने चेतावनी दी है कि नए वैरिएंट के बाद अस्पताल में कोरोना मरीजों के भर्ती होने की दर में जल्दी कम नहीं आएगी। इसके पीछे सबसे बड़ी वजह ये है कि नया वैरिएंट ओमिक्रॉन की तरह नहीं है बल्कि ये एक स्पेशल रिकोंबिनेशन है। जो पहले ही म्यूटेट कर चुके यानी रूप बदल चुके दो कोरोना वैरिएंट से मिलकर बना है।
अमेरिका के कई शहरों में एक्सबीबी15 वैरिएंट ने दूसरे वैरिएंट्स पर हावी होना शुरू कर दिया है। कनेक्टिकट शहर, अमेरिका के न्यू इंग्लैंड में भी इसके मामलों में बढ़ोतरी दर्ज की गई है। वहां भी इसके कारण अस्पताल में भर्ती होने की दर बढ़ी है।
क्या वैक्सीन नए वैरिएंट पर असरदार साबित होगी? एरिक ने इस सवाल के जवाब में बताया है कि अमेरिका की बाइवलेंट बीए5 और यूके की बाइवलेंट बीए1 वैक्सीन इस पर असरदार साबित हो सकती है। हालांकि, ये दोनों वैक्सीन कितनी असरदार होंगी इसका अभी अनुमान लगाना मुश्किल है। ऐसा इसलिए क्योंकि ये वैरिएंट ओमिक्रॉन के कई सब वैरिएंट से मिलकर बना है।
आर वैल्यू का सीधा-सीधा संबंध केसेज बढ़ने या कम होने की रफ्तार से है। अगर आर वैल्यू बढ़ रही है तो इसका मतलब है कि केसेज भी बढ़ेंगे और कम हो रही है तो केसेज भी कम होंगे। केसेज कम होने के लिए जरूरी है कि आर वैल्यू 1 से कम हो। फिलहाल जहां आर वैल्यू ज्यादा है वहां केसेज भी बढ़ने लगे हैं। पहली और दूसरी लहर के दौरान भी कुछ ऐसा ही ट्रेंड देखने को मिला था।
[आईएएनएस इनपुट के साथ]
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